प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कुवैत यात्रा पर हैं. कुवैत पहुंचने पर उनका गर्मजोशी से स्वागत किया गया. पिछले 43 सालों में किसी भारतीय प्रधानमंत्री की यह पहली यात्रा है. कुवैत में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि भारत और कुवैत का रिश्ता. सभ्यताओं का है. सागर का है. व्यापार-कारोबार का है. भारत और कुवैत, अरब सागर के दो किनारों पर बसे हैं. हमें सिर्फ डिप्लोमेसी ने ही नहीं, बल्कि दिलों ने आपस में जोड़ा है. हमारा वर्तमान ही नहीं, बल्कि हमारा अतीत भी हमें जोड़ता है.
PM मोदी ने कहा कि अतीत में संस्कृति और वाणिज्य द्वारा निर्मित संबंध आज नई ऊंचाइयों को छू रहे हैं. आज कुवैत भारत का एक महत्वपूर्ण ऊर्जा और व्यापार भागीदार है. कुवैती कंपनियों के लिए भी भारत एक बहुत बड़ा निवेश गंतव्य है.
न्यूयॉर्क में हमारी मुलाकात के दौरान कुवैत के महामहिम क्राउन प्रिंस ने कहा, “जब आपको ज़रूरत हो, तो भारत आपका गंतव्य है. भारत और कुवैत के नागरिकों ने हमेशा संकट के समय एक-दूसरे की मदद की है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि भारत, दुनिया के उन पहले देशों में से एक है, जिसने कुवैत की स्वतंत्रता के बाद उसे मान्यता दी थी. इसलिए जिस देश से, जिस समाज से इतनी सारी यादें जुड़ी हैं. वहां आना मेरे लिए बहुत यादगार है. मैं कुवैत के लोगों और यहां की सरकार का बहुत आभारी हूं.
PM मोदी ने कहा कि भारत के स्टार्टअप, फिनटेक से हेल्थकेयर तक, स्मार्ट सिटीज से ग्रीन टेक्नोलॉजी तक कुवैत की हर जरूरत के लिए अत्याधुनिक समाधान बना सकते हैं. भारत का स्किल्ड यूथ, कुवैत की फ्यूचर जर्नी को भी नई स्ट्रेंथ दे सकता है. भारत में आज दुनिया की स्किल कैपिटल बनने का भी सामर्थ्य है. इसलिए भारत, दुनिया की स्किल डिमांड को पूरा करने का सामर्थ्य रखता है.
PM मोदी ने कहा कि आज का भारत एक नए मिजाज के साथ आगे बढ़ रहा है. आज भारत, दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी इकोनॉमी है. आज दुनिया का नंबर वन फिनटेक इको-सिस्टम भारत में है. दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा स्टार्टअप इको-सिस्टम भारत में है. दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा मोबाइल निर्माता देश है. भविष्य का भारत, दुनिया के विकास का हब होगा.