संसद में प्रियंका के पहले भाषण का विश्लेषणः कांग्रेस का प्लान ‘M’ समझिए

Priyanka Gandhi First Speech In Parliament: लोकसभा में प्रियंका गांधी ने पहला भाषण दिया तो साफ दिखा कि वो पूरी तैयारी के साथ आई हैं. पहले भाषण को खास बनाने का उन्होंने पूरा प्रयास किया. भाषण में उन्होंने बीजेपी को घेरने का एक भी मौका नहीं छोड़ा. यही कारण है कि लोकसभा अध्यक्ष को उन्होंने टोकना पड़ा कि यहां संविधान पर बात हो रही है. कुछ अच्छी बातें संविधान पर भी कह दीजिए… हालांकि, प्रियंका गांधी अपने भाषण के लय में दिखीं और खासकर थ्री ‘M’ पर उनका फोकस रहा.

क्या है M?

3 M में पहला M है महिला. प्रियंका गांधी ने महिलाओं को लेकर खूब बातें की. उन्होंने कहा, “चुनाव के कारण शायद नारी शक्ति की बात हो रही है. संविधान ने ये अधिकार उन्हें दिया है. नारी शक्ति अधिनियम लागू क्यों नहीं करते? क्या आज की नारी 10 साल इसके लागू होने का इंतजार करेगी? यहां के साथी अक्सर पुरानी बातें करते हैं. इस सन में ये हुआ, उस सन में ये हुआ… आप क्या कर रहे हैं? क्या सारी चीजें नेहरू जी ने ही की हैं? क्या सारी जिम्मेदारी नेहरू की है?” फिर प्रियंका ने आगरा के एक अरुण वाल्मीकि का जिक्र करते हुए कहा, “उसकी नई-नई शादी हुई थी. दो-तीन महीनों का बच्चा था. पुलिस स्टेशन में चोरी हो गई. चोरी का इल्जाम उसपर लगा. पूरे परिवार को स्टेशन ले गए. अरुण को पीट-पीट कर मार डाला. उसकी पत्नी और पिता को भी पीटा गया. मैं उसकी पत्नी से मिली. उसने कहा, दीदी सिर्फ एक चीज चाहिए. न्याय चाहिए. ये हिम्मत उसे और सभी महिलाओं को संविधान ने दी है.”

2 M क्या है?

प्रियंका गांधी का दूसरा M मुसलमान रहे. केंद्र सरकार पर आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा, आजकल शक और घृणा के बीज बोए जा रहे हैं. संभल, हाथरस और मणिपुर पर कोई कुछ नहीं बोलता. भारत के संविधान ने एकता दी है. मोहब्बत की दुकान पर आपको हंसी आती है, लेकिन देश साथ चला.  प्रियंका ने आगे कहा, ‘संभल के पीड़ित परिवारों के कुछ लोग हमसे मिलने आए थे. इनमें दो बच्चे थे- अदनान और उजैर. उनमें से एक मेरे बेटे की उम्र का था और दूसरा छोटा था, 17 साल का. उनके पिता एक दर्जी थे. दर्जी का सिर्फ एक सपना था कि वह अपने बच्चों को शिक्षित करेगा, एक बेटा डॉक्टर बनेगा और दूसरा भी सफल होगा … पुलिस ने उनके पिता की गोली मारकर हत्या कर दी. 17 वर्षीय अदनान ने मुझे बताया कि वह बड़ा होकर डॉक्टर बनेगा और अपने पिता के सपने को साकार करेगा. यह सपना और आशा उनके दिल में भारत के संविधान द्वारा पैदा की गई थी.”

3 M क्या है?

3 M प्रियंका गांधी का खुद पीएम मोदी हैं. प्रियंका ने पीएम मोदी पर तंज कसते हुए एक कहानी सुनाई. कहा कि हम सुना करते थे कि एक राजा अपनी प्रजा का दुख जानने के लिए वेष बदलता है, वेष तो अब भी बदले जाते हैं पर जनता का दुख नहीं देखा जाता. ये देश कायरों के हाथ में कभी नहीं रहा. ये देश उठेगा और जगेगा. प्रियंका गांधी ने कहा कि देश में जातिगत जनगणना की बहुत जरूरत है. आज जातिगत जनगणना की बात हो रही है. सत्तापक्ष के साथी ने इसका जिक्र किया. ये जिक्र इसलिए हुआ, क्योंकि चुनाव में ये नतीजे आए. ये इसलिए जरूरी है, ताकि हमें पता चले कि किसकी क्या स्थिति है. इनकी गंभीरता का प्रमाण ये है कि जब चुनाव में पूरे विपक्ष ने जोरदार आवाज उठाई जातिगत जनगणना होनी चाहिए. जाति जनगणना पर इनका जवाब होता है भैंस चुरा लेंगे, मंगलसूत्र चुरा लेंगे.

M पर फोकस क्यों?

प्रियंका गांधी ने अपने भाषण में M पर फोकस कर कांग्रेस के वोटबैंक को मजबूत करने की कोशिश की. पहले  M से महिला वोटरों को जोड़ने की कोशिश की. सोनिया गांधी के समय में महिला वोटरों का झुकाव कुछ हद तक कांग्रेस की तरफ हुआ करता था, लेकिन नरेंद्र मोदी के दिल्ली आते ही देश की महिला मतदाताओं का झुकाव उनकी तरफ हो गया. यही कारण रहा कि सब कुछ करके भी कांग्रेस इस बार के लोकसभा चुनाव में भी 100 का आंकड़ा पार नहीं कर पाई. दूसरा M कांग्रेस के लिए अभी सबसे महत्वपूर्ण दिखता है. कारण मुस्लिम मतदाता पूरी तरह कांग्रेस के साथ खड़े दिख रहे हैं. यही कारण है कि अखिलेश यादव  से लेकर लालू यादव और अरविंद केजरीवाल तक कांग्रेस से दूरी बनाने और उसे कमजोर करने के लिए I.N.D.I.A गठबंधन का नेतृत्व ममता बनर्जी की मांग गुपचुप तरीके से करने लगे हैं. तीसरे M के जरिए प्रियंका गांधी ने साफ कर दिया कि राहुल गांधी की तरह उनके भी निशाने पर पीएम मोदी ही रहेंगे और वो किसी भी मौके पर ऐसा करने से चूकेंगी नहीं.   
 

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